बिहारशरीफ,13 सितम्बर 2023 : स्थानीय बिहार अराजपत्रित प्रारम्भिक शिक्षक संघ भवन भैसासुर में शिक्षक संघ के जिला अध्यक्ष संजय कुमार सिन्हा की अध्यक्षता में श्रद्धांजलि सभा का आयोजन किया गया। श्रद्धांजलि सभा में दो मिनट का मौन रखकर उनकी आत्मा की शांति के लिए ईश्वर से प्रार्थना की। बिहार अराजपत्रित प्रारम्भिक शिक्षक संघ नालंदा के कार्यकारी सचिव सह मध्य विद्यालय उत्तरा के प्रधानाध्यापक विवेकानंद सविता के असामयिक निधन पर श्रद्धांजलि सभा का आयोजन किया गया। मौके पर उपस्थित शिक्षकों ने स्वर्गीय विवेकानंद सविता के तैल चित्र पर पुष्पांजलि अर्पित कर श्रद्धा सुमन अर्पित किया। इस अवसर पर अध्यक्षता करते हुए जिलाध्यक्ष संजय कुमार सिन्हा ने कहा कि विवेकानंद सविता के निधन से संगठन को अपूरणीय क्षति हुई है। वे चरित्रवान, गुणवान, कर्मयोगी, कर्तव्यनिष्ठ और समझदार शिक्षक थे। उनका जीवन सभी शिक्षकों के लिए अनुकरणीय है। उनके निधन से इस इलाके को भी अपूर्णीय क्षति हुई है। उन्होंने आजीवन शिक्षा का अलख जगाने के लिए काम किया। मौके पर बिहार अराजपत्रित प्रारम्भिक शिक्षक संघ के राज्य परिषद् सदस्य राकेश बिहारी शर्मा ने कहा कि स्वर्गीय विवेकानंद सविता जी हमारे जीवन को इस तरह से प्रभावित किया है जिसे शब्दों में व्यक्त नहीं किया जा सकता। नालंदा के शिक्षक संघ ने शिक्षण की कला का एक सच्चा शिक्षक नेता एवं एक आदर्श गुरु खो दिया है, और पूरा शिक्षक समाज स्वर्गीय विवेकानंद जी को सदियों तक बहुत याद करेंगे। अपने पेशे और अपने छात्रों के प्रति विवेकानंद जी का समर्पण वास्तव में उल्लेखनीय था।शिक्षण के प्रति उनका सराहनीय एवं संघर्षशील जुनून था। वे सादा जीवन उच्च विचार वाले व्यक्तित्व के धनी शिक्षक थे। वे अपने जीवन पर्यंत शिक्षक समाज के लिए जिला से लेकर प्रदेश तक शिक्षक पदाधिकारी के रूप में संगठन का काम पूरी निष्ठा के साथ करते रहे। उनका विरासत आने वाली पीढ़ियों के शिक्षकों एवं छात्रों को प्रेरित करती रहेगी।
शिक्षक संघ के संयुक्त सचिव शिशिर कुमार सिन्हा ने कहा कि स्वर्गीय विवेकानंद सविता जी काफी जुझारू व संघर्षशील प्रवृत्ति के शिक्षक थे। उनका देहांत हो जाने से परिवार और शिक्षक समाज ने अपना एक सच्चा हितैषी खो दिया। यह शिक्षक समाज के लिए अपूर्णीय क्षति है। पिछले 2 सितम्बर 2023 को विद्युत आघात से हृदय गति रुक जाने के कारण विवेकानंद सविता का देहांत हो गया था। शिक्षक संघ के कोषाध्यक्ष डॉ०रामाधीन सिंह ने कहा कि दुनिया में शिक्षण कार्य ही एक ऐसा पेशा है, जिससे जुड़ने वाले व्यक्ति जब तक दुनिया में जिन्दा रहते हैं, उनके छात्र और छात्रायें अपने शिक्षक को दिलों में बसाए रखते हैं। विशेषकर ऐसे शिक्षक जो अपने छात्रों के उज्ज्वल भविष्य के लिए हमेशा चिंतित रहते हैं और उसके लिए स्वयं को समर्पित कर देते हैं। स्वर्गीय विवेकानंद सविता जी भी ऐसे ही शिक्षक थे जो पिछले कई वर्षों तक अपने छात्र-छात्राओं के लिए कार्य करते रहे और शैक्षणिक जगत में एक अच्छे शिक्षक के रूप में खुद को स्थापित किया।
शिक्षक संघ के प्रदेश सचिव सुजीत कुमार ने कहा कि स्वर्गीय विवेकानंद सविता जी का व्यवहार और विचार बेहद सौम्य था। जिसके चलते उन्हें शिक्षकों के साथ-साथ अभिभावकों द्वारा भी बहुत सम्मान दिया जाता था। उनके निधन से शिक्षा जगत में एक गहरा शून्य हो गया है। शिक्षक संघ के भूतपूर्व प्रदेश महासचिव मो०तस्लीमउद्दीन ने कहा कि स्व. विवेकानंद एक कुशल शिक्षक के साथ समाजसेवी भी थे। उनके निधन से समाज को भारी क्षति पहुंची है। इस अवसर पर समाजसेवी धीरज कुमार, शिक्षक संघ के कार्यालय सचिव बृजु लाल, शिक्षक नेता दिलीप कुमार, अजय कुमार सिंह, कृष्णचन्द्र कुमार, मृत्युंजय प्रसाद सिंह, उमेश पासवान, निशात आलम, अनिल रजक, सुनील कुमार, राजेश कुमार, संजय कुमार, भरत भूषण, बृजु लाल, अनिल पासवान, सतीश प्रसाद, राजेश कुमार, आशुतोष कुमार, प्रेम रंजन कुमार, आलोक कुमार, सूर्य नंदन चौधरी, चंद्र शेखर प्रसाद, अरविंद पासवान, सुधीर प्रसाद, अनिल प्रसाद, मोo इरफान, सत्येंद्र रजक, जितेंद्र कुमार, अनूप कुमार सिन्हा, अवधेश कुमार, सत्यवान शर्मा, मुकेश कुमार,संजय कुमार वर्मा, अभय कुमार, विनय कुमार,मनोज कुमार सहित दर्जनों शिक्षक उपस्थित थे।