मुजफ्फरपुर नाव हादसा: बिहार धरती का एकमात्र ऐसा राज्य जहां 12 बच्चों की दुखद मृत्यु हो जाए और राज्य का अहंकारी मुखिया नीतीश कुमार देखने तक न आए, अमेरिका में अगर 32 बच्चे हादसे का शिकार हो जाएं तो वहां के राष्ट्रपति को भी पीड़ितों के पास जाना पड़ेगा: प्रशांत किशोर
मुजफ्फरपुर: जन सुराज पदयात्रा के सूत्रधार प्रशांत किशोर ने मीडिया द्वारा मुजफ्फरपुर जिले में बागमती नदी में नाव पलटने से बच्चों की हुई मौत की दुखद घटना पर पूछे गए सवाल पर जवाब देते हुए कहा कि नाव से जाने वाले बच्चों की दुखद मृत्यु हो गई ये हम लोग देख-सुन रहे हैं। इसमें सबसे बड़ी जो दुखद बात है उसे बिहार के पत्रकार उठा ही नहीं रहे हैं। इसमें सबसे बड़ी दुखद बात ये है कि बिहार धरती में मात्र ऐसा राज्य है, जहां 25 से 30 बच्चे हादसे का शिकार हो जाते हैं और 10 से ज्यादा की दुखद मृत्यु हो जाए और राज्य का मुखिया नीतीश कुमार इतना अहंकारी है कि पीड़ितों के घर देखने तक नहीं गया। दुनिया, में भारत की बात नहीं कर रहा हूं अगर 32 बच्चों की दुखद मृत्यु हो जाए यहां तक कि अमेरिका जैसे देश में जहां 32 बच्चों की दुखद मृत्यु हो जाए तो वहां के राष्ट्रपति को सब काम छोड़कर जाना पड़ेगा। बिहार का मुखिया इतना अहंकारी हो गया है कि देखने तक नहीं आया। ये अहंकार क्यों है? क्योंकि ये आदमी जानता है कि वोट आप किसी को दीजिए मुख्यमंत्री तो मुझे ही बनना है। फेविकोल लगाकर कुर्सी पर बैठ गया है। भाजपा को वोट दीजिए, लालटेन की दीजिए, नीतीश को दीजिए या फिर कांग्रेस को वोट दीजिए हर बार मुख्यमंत्री यही आदमी बन जाता है।
नीतीश कुमार को शर्म नहीं आती कि छपरा में जब 70 लोग मर गए थे तो पॉकेट में हाथ डालकर कहा था कि जो पीयेगा वो मरेगा : प्रशांत किशोर
मुजफ्फरपुर के बरुराज में पत्रकारों से बातचीत में प्रशांत किशोर ने नीतीश कुमार की असंवेदनशीलता पर आगे कहा कि इस आदमी को इस बात का अहंकार हो गया है कि हम यहां से हट ही नहीं सकते। हमने बयान पढ़ा कि नीतीश कुमार कह रहे हैं कि जिलाधिकारी को निर्देश दिया है। बिहार के लोग इसलिए कह रहे हैं कि ये अधिकारियों का राज हो गया है। चुनकर आप गए हैं जनता ने मुख्यमंत्री आपको बनाया है इतने बच्चों की मृत्यु हो गई और परिवार उजड़ गए और आप कहते हैं जिला अधिकारी को निर्देश दिया है।
बीते दिनों छपरा में जहरीली शराब पीने से 70 लोगों की दुखद मृत्यु हो गई थी और ये आदमी पॉकेट में हाथ डालकर कहता था कि जो पियेगा वो मरेगा। ऐसे आदमी को बिहार के लोग अगर वोट देते हैं तो गलती नीतीश कुमार का नहीं है बिहार की जनता का है। आपके बच्चों का जो निवाला छीन लिया आपके बच्चों का जिसने पढ़ाई की व्यवस्था भंग करके अनपढ़ बना दिया आपके बच्चों को जिसमें मजदूर बना दिया उस आदमी को आप जाकर वोट देते हैं, तो आपसे बड़ा गुनाहगार कौन है? जनता सबसे बड़ा गुनाहगार है नेता तो अपना कुर्सी के लिए वोट मांग रहा है, आपको क्या मजबूरी है?