बिहार के सभी जिलों में अवस्थित जिला निबंधन सह परामर्श केन्द्रों में कार्यरत सिंगल विंडो ऑपरेटर एवं मल्टीपरपरा असिस्टेंट अपने विभिन्न मांगों को लेकर 14 मार्च से चार दिवसीय हडताल पर चले गये है।
ज्ञातव्य है कि ये कर्मी मुख्यमंत्री जी का डीम प्रोजेक्ट पूरा करने में लगे हैं और लोगों के सपनों में रंग भर रहे है जिससे बिहार के युवा / युवतियों के हौसलों कि उड़ान भरने की ताकत मिल रही है, पहले बिहार के गरीब मा-बाप अपने बच्चों को डॉक्टर इंजिनियर बनाना तो चाहते थे लेकिन अपने आर्थिक स्थिति के कारण उनके सपने टूट जाते थे, लेकिन जब से बिहार में स्टूडेंट क्रेडिट कार्ड योजना के तहल उच्च शिक्षा हेतु लोन मिलने लगा इनके सपने पूरा होने लगे।
दसवी पास करते ही बच्चे कमप्युटर के प्रति आकर्षित होने लगे और बेरोजगार लोग आर्थिक सहायता लेकर अपनी स्थिती को सुधारने लगे। लेकिन मुख्यमंत्री जी का अतिमहत्वकाक्षी योजना को पूरा करने में जो कर्म जी तोड़ कर मेहनत कर रहे हैं उन्ही का भविष्य आने वाले समय में उनके परिवार का भविष्य है अधर में और हमेशा असुरक्षित की भावना से प्रसीत है।
जिला निबंधन सह परामर्श केन्द्र में पदस्थापित सिंगल विंडो ऑपरेटर मल्टीपरपस असिस्टेंट का सरकार से निम्न मांगे इस प्रकार है। जो कि सभी विभागों के नियमों को देखते हुए हम सभी की मांगे जायज है।
महोदय हम सभी सिंगल विंडो ऑपरेटर / मल्टीपरपस असिस्टेंट कि निम्न मांगे है, जो इस प्रकार है। १. संविदा कर्मियों हेतु गठित उच्चस्तरीय समिति की सिफारिशों के अनुरूप सेवा 60 वर्षों तक एवं इस अनुशंशाओं में
वर्णित सभी नियमों एवं प्रावधानों को भी हमलोगों के उपर भी इसे अक्षरश लागू किया जाए।
2. मानदेय कम से कम 10000/- की बढ़ोतरी किया जाए, या वर्ष 2017 से लगातार वर्षों तक 10 प्रतिशत कि दर से
मानदेय की बढोतरी करते हुए बकाया बढोतरी राशि मानदेय के रूप में भूगतान किया जाए। 3. सम्मानजनक मानदेय देकर दिव्यांग कर्मियों को अपने गृह जिला एवं सामान्य कर्मियों को अपने गृह जिला के आस-पास के जिलों में पदस्थापित किया जाए, ताकि ये कर्मी सरकारी कार्यों के साथ-साथ अपने परिवारीक दायित्वों का निर्वहन कर सके।
4 सभी कर्मियों का एक माह के समतुल्य मानदेय की राशि जो काट कर रखी गई है जिसे सिक्यूरिटी मनी के रूप में बिहार विकास मिशन के पास रखा गया है उसे व्याज सहित वापस किया जाए, क्योंकि ऐसा नियम बिहार सरकार के किसी भी विभाग में लागू नहीं है कि अपने ही विभाग के कर्मी के वेतन से राशि की कटौती कर के सिक्यूरिटी मनी के रूप में रखा जाता हो।
जिला निबंधन सह परामर्श केन्द्र में इनकी बहाली बेल्ट्रॉन के माध्यम से लिखित परीक्षा पास करने के उपरांत सभी जिला में पदस्थापित किये गये है। वहीं बेल्टॉन के जितने भी कर्मि सरकारी विभागों में पदस्थापित है उन कर्मियों को चौधरी कमिटी की अनुशंसा का लाभ मिल गया है, उनके उपर सरकार के द्वारा लागू कर दिया गया है लेकिन उसी तरह की दक्षता परिक्षा पास करके जिला निबंधन सह परामर्श केन्द्र में बिहार विकास मिशन के द्वारा पदस्थापित किये गये सिंगल विंडो ऑपरेटर मल्टीपरपस असिस्टट जे कर्मियों को इस अनुशंसा के लाभ से वचित रखा गया है।
इनका सेवा विस्तार हर ग्यारह महीने पर किया जाता है, जिससे इनमें असुरक्षित की भावना बनी रहती है। जबकि बेल्ट्रॉन के कर्मियों का कार्यकाल 60 वर्ष तक कर दिया गया है। वहीं जिला निबंधन सह परामर्श केन्द्र में पदस्थापित कर्मियों का एक माह का वेतन सिक्यूरिटी मनी के रूप में काट कर रखा गया है और हर साल बड़े वेतन में से भी कुल मानदेय का 1/4 काट कर रखा जाता है जो अन्य किसी भी विभाग में ऐसा प्रावधान नहीं है।
अल्पवेतन पर बहाल इन कर्मियों को अगस्त 2021 में एकमुश्त भारी संख्या में साफ तौर पर कहा जाय तो जिले में पदस्थापित सभी लोगों का स्थानातरण किया गया जिसमें अधिकांश कर्मियों का गृह जिला से दो सौ से चार सौ किलोमिटर दूर पर पदस्थापित किया गया है जिसके कारण इतना कम मानदेय में घर से इतने दूरी पर पदस्थापित होने के कारण परिवार और कार्यालय में सामनजस्य बैठाना मुश्किल हो रहा है।
इन मांगों को लेकर समय-समय पर ये कर्मी बिहार विकास मिशन कार्यालय से पत्राचार किये बैठक वार्ता
किये है लेकिन अभी तक इन्हें हासिल हुआ यो है सिर्फ आश्वासन पूर्व में भी अपने मांगों के प्रति एक सप्ताह तक, काली पट्टी लगाकर शांतिपूर्ण तरीके से अपने कार्यालय कार्य को सुचारू रूप से करते हुए अपने मांगों को सरकार को तरफ पुरी नहीं किये जाने के कारण विरोध दर्ज कराया गया था, लेकिन विभाग के कान पर जूँ नहीं रेंग रहा
अब इनका धैर्य जवाब दे चुका है और ये लोग बिहार राज्य सिंगल विंडो ऑपरेटर / मल्टीपरपस असिस्टेंट बिहार के प्रदेश अध्यक्ष और अपने जिले के जिला अध्यक्ष के दिशा निर्देश में चार दिवसीय हडताल कर अपने